मध्य प्रदेश में होने वाले उपचुनाव में इस बार किसान कर्ज माफी का मुद्दा बड़ा चुनावी मुद्दा होने जा रहा है क्योंकि जब कमलनाथ की सरकार गिरी थी तब कांग्रेस से बगावत करने वाले ज्योतिरादित्य सिंधिया ने आरोप लगाया था कि कांग्रेस सरकार ने कर्ज माफी में वादाखिलाफी की है मगर अब बीजेपी सरकार ने भी स्वीकार किया है कि कमलनाथ सरकार के दौरान किसानों की कर्जा माफी की गई थी, जिसके बाद प्रदेश की राजनीतिक सरगर्मियां बढ़ गई है।
दरसल किसान कर्ज माफी को लेकर कांग्रेस सरकार पर हमलावर सत्तारूढ़ बीजेपी ने माना है कि कमलनाथ सरकार में किसान कर्ज माफी हुई थी।
विधानसभा में कांग्रेस विधायक जयवर्धन सिंह के एक सवाल पर कृषि मंत्री कमल पटेल ने जवाब दिया कि प्रदेश में 51 जिलों में किसान कर्ज माफी हुई है।
राज्य सरकार ने विधानसभा में बताया कि 27-12-2019 से पहले किसान कर्ज माफी का पहला चरण और 27-12-2019 के बाद किसान कर्ज माफी का दूसरा चरण चलाया गया था. राज्य सरकार ने माना है कि प्रदेश में किसानों का एक लाख रुपए तक का कर्जा माफ हुआ है।
राज्य सरकार ने गुना, बमोरी, राघोगढ़, मधुसूदनगढ़, चाचौड़ा, कुंभराज और आरोन में भी 17403 किसानों का एक लाख रुपए तक का कर्जा माफ होने की जानकारी दी. राज्य सरकार के विधानसभा में दिए गए जवाब के मुताबिक, प्रदेश के सभी जिलों में किसान कर्ज माफी हुई है।
किसान कर्ज माफी के मुद्दे पर अब तक बीजेपी के आरोप झेल रही कांग्रेस ने प्रदेश सरकार पर जवाबी हमला करना शुरू कर दिया है. पूर्व मंत्री और मौजूदा कांग्रेस विधायक डॉक्टर गोविंद सिंह ने कहा है कि कांग्रेस बार-बार यह कह रही है कि कमलनाथ सरकार में किसानों का कर्जा माफ हुआ है, लेकिन बीजेपी किसान कर्ज माफी के मामले पर भ्रम फैलाने का काम कर रही है।
अब विधानसभा में सरकार के जवाब से साफ हो गया है कि किसानों का कर्जा माफ हुआ है। गोविंद सिंह ने दावा किया है कि उनके विधानसभा क्षेत्र में किसानों का दो लाख रुपए तक का भी कर्जा माफ हुआ है.