हरियाणा और महाराष्ट्र के बाद अब देश में विधानसभा चुनाव का अगला नंबर झारखंड का है। झारखंड में होने वाले विधानसभा चुनाव के तारीखों का ऐलान चुनाव आयोग ने कर दिया है। प्रदेश के 81 विधानसभा सीटों पर 5 चरणों में चुनाव होगा और 23 दिसंबर को चुनाव के नतीजे आएंगे।
चुनाव आयोग ने झारखंड विधानसभा चुनाव की तारीखों को लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए कहा कि झारखंड की सभी 81 विधानसभा सीटों पर चुनाव होगा. इसे लेकर चुनाव आयोग ने सारी तैयारियां कर ली है. चुनाव आयोग ने कहा कि झारखंड में आज से आचार संहिता लागू हो गया है।
नक्सल प्रभावित क्षेत्रों होने के कारण झारखंड विधानसभा चुनाव पांच चरणों में कराने का फैसला लिया गया है।
पहले चरण का मतदान 30 नवंबर को होगा। दूसरा चरण की वोटिंग 7 दिसंबर , तीसरे चरण की वोटिंग 12 दिसंबर, चौथे चरण की वोटिंग 16 दिसंबर और पांचवें चरण की वोटिंग 20 दिसंबर को होगी. इसके बाद झारखंड चुनाव के नजीते 23 दिसंबर को आएंगे।
तारीखों का ऐलान करते हुए मुख्य निर्वाचन आयुक्त सुनील अरोड़ा ने कहा कि पहले चरण में 30 नवंबर को 13 सीटों पर, दूसरे चरण में 20 सीटों पर, तीसरे चरण में 17 सीटों पर, चौथे चरण में 15 सीटों पर और आखिरी चरण में 16 सीटों पर वोट डाले जाएंगे. झारखंड के 67 विधानसभा क्षेत्र नक्सल प्रभावित हैं।
झारखंड विधानसभा का कार्यकाल 5 जनवरी को खत्म हो जाएगा. उपायुक्तों ने 17-18 अक्टूबर को ही झारखंड का दौरा किया था। झारखंड के 19 जिले और 67 विधानसभा क्षेत्र नक्सल प्रभावित हैं। इस नक्सल प्रभावित इलाकों को देखते हुए चुनाव आयोग ने पांच चरणों में झारखंड विधानसभा चुनाव कराने का ऐलान किया है।
झारखंड में बीजेपी और आजसू की सरकार है जिसके मुख्यमंत्री रघुवर दास हैं।
गौरतलब है कि मुख्यमंत्री रघुवर दास के नेतृत्व में बीजेपी लगातार दूसरी बार पूर्ण बहुमत के साथ सत्ता में वापसी को बेताब है। बीजेपी ने लोकसभा चुनाव के नतीजे को देखते हुए विधानसभा चुनाव में मिशन-65 प्लस का टारगेट फिक्स किया है। बीजेपी-एजेएसयू मिलकर चुनावी मैदान में उतर रहे हैं। झारखंड मुक्ति मोर्चा के अध्यक्ष हेमंत सोरेन सत्ता में आने के लिए बदलाव यात्रा पर निकले हैं और बीजेपी के खिलाफ माहौल बनाने में जुटे हैं।
वहीं, कांग्रेस ने प्रदेश अध्यक्ष की कमान रामेश्वर उरांव को देकर आदिवासी और कार्ड खेला है। इसके अलावा बाबूलाल मरांडी की पार्टी जेवीएम अकेले चुनावी ताल ठोकने की तैयारी में है।
81 विधानसभा सीट के लिए 2014 में बीजेपी ने 37 , जेएमएम ने 17 , जेवीएम ने 8 , कांग्रेस ने 7 , आजसू ने 5 और अन्य ने 6 सीट जीता था। बाद में जेवीएम के 8 में से 6 विधायक बीजेपी में शामिल हो गए थे जिसके कारण बीजेपी अपने बल पर बहुमत प्राप्त कर ली थी।
अब देखना है कि 2019 की विधानसभा चुनाव में कौन सा दल बाजी मारने में कामयाब होता है।