देश मे बढ़ रहे कोरोना संक्रमण के प्रभाव से लोगो को बचाने के कोशिश में डॉक्टरों और पुलिस को भी इस वायरस से संक्रमित होना पड़ रहा है, जिस कारण से कई पुलिसकर्मियों और डॉक्टरों की मौत भी हो जा रही है। ऐसा ही एक दुखद घटना मध्यप्रदेश के इंदौर में हुआ जहां उज्जैन के नीलगंगा थाना प्रभारी यशवंत पाल की इलाज के दौरान मौत हो गई।
6 अप्रैल को कोरोना संक्रमण की पुष्टि के बाद उन्हें इंदौर के सीएचएल अस्पताल में भर्ती कराया गया था। तबीयत में सुधार नहीं होने पर 12 दिन पूर्व इंदौर के अरविंदो अस्पताल में रैफर किया गया। जहां उन्होंने मंगलवार सुबह अंतिम सांस ली।
पाल के परिवार में पत्नी और दो बेटियां हैं। मूल रूप से बुरहानपुर के निवासी 59 वर्षीय यशवंत पाल 1983 बैच के निरीक्षक थे। बाद में परिवार सहित इंदौर में रहने लगे थे। कोरोना संक्रमण की पुष्टि के बाद उनकी पत्नी मीना, 22 साल की बेटी फाल्गुनी व 20 साल की बेटी ईशा को शहर के एक होटल में क्वारंटाइन किया गया था।
परिवार कुछ दिन पहले ही उनसे मिलने आया था। मंगलवार सुबह मौत की सूचना के बाद स्वजन इंदौर पहुंचे। सीएम शिवराज सिंह चौहान ने टीआई यशवंत पाल को श्रद्धांजलि दी और उनके परिवार को 50 लाख रुपए और बेटी को एसआई की पोस्ट देने की घोषणा की।
टीआई पाल ने शहर के कंटेनमेंट क्षेत्र अंबर कॉलोनी में ड्यूटी की थी। इस कॉलोनी में एक युवक की कोरोना से मौत हुई थी। साथ ही टीआई पाल बेगमबाग क्षेत्र में भी तैनात रहे। यहां भी कोरोना पॉजिटिव मरीज मिल चुके हैं।
एएसपी रूपेश द्विवेदी ने बताया बीते कुछ दिनों से उनकी हालत स्थिर थी। सांस लेने में तकलीफ होने के कारण उन्हें वेंटीलेटर पर रखा गया था। सोमवार देर रात उनकी तबीयत बिगड़ गई। पुलिस अधिकारियों के अनुसार टीआई पाल का अंतिम संस्कार इंदौर में होगा।
लगातार पुलिसकर्मी कोरोना वायरस की चपेट में आते जा रहे हैं। इंदौर में जूनी इंदौर टीआई के कोरोना पॉजिटिव होने के बाद उनके साथ रहने वाले एक कांस्टेबल भी पॉजिटिव निकले थे। इंदौर और महू में भी एक-एक पुलिस अधिकारी कोरोना पॉजिटिव हैं, जिनका इलाज चल रहा है। भोपाल में भी कई पुलिसकर्मी कोरोना पॉजिटिव मिले हैं।