मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का पहला बजट वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पेश किया। कांग्रेस ने इस बजट पर प्रतिक्रिया देते हुए इस बजट को नई बोतल में पुरानी शराब की तरह बताया। कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि बजट में कुछ भी नया नहीं है.
बजट पेश होने के बाद पहली प्रतिक्रिया देते हुए कांग्रेस नेता अधीर रंजन ने कहा कि 2019 के इस आम बजट में पुराने वादों को ही दोहराया गया है. इसमें कुछ भी नया नहीं है. मोदी सरकार न्यू इंडिया की बात करती है, लेकिन ये बजट नई बोतल में पुरानी शराब की तरह है।
कांग्रेस नेता ने कहा इस बजट में युवाओं के रोजगार के लिए कुछ नहीं है। इस बजट में कोई भी नया कदम नहीं उठाया गया है.
निर्मला सीतारमण ने आज बजट पेश करने से पहले ब्रीफकेस के जगह लाल बही खाता लाया।
बजट पेश होने के बाद कांग्रेस ने ट्वीट कर इस बजट पर कई सवाल उठाए।
कांग्रेस ने ट्वीट करते हुए कहा कि आखिरकार सरकार ने मान ही लिया कि आज देश में सबसे ज्यादा बेरोजगारी है. मोदी सरकार के इस बजट में नौकरी के सृजन के उपाय नहीं किए गए. देश ऐसे ही नोटबंदी और जीएसटी की मार को झेल रहा है. आने वाले दिनों में इसका बड़ा व्यापाक असर देखने को मिलेगा।
कांग्रेस ने दूसरे ट्वीट में कहा कि इस बजट से कृषि क्षेत्र को कुछ नहीं मिलेगा. पिछले चार से से किसानों की खुदकुशी में आत्महत्या का आंकड़ा बढ़ा है. किसानों की आय दोगुनी करने का दावा करने वाली सरकार ने ऐसा कुछ भी नहीं किया जिससे किसानों को कुछ खास मिले. किसानों और खेतीबाड़ी के लिए को स्पष्ट नीति इस बजट में नहीं है।
कांग्रेस ने स्वास्थ्य के क्षेत्र में कोई बड़ी घोषणा नहीं होने पर भी उदासी दिखाते हुए कहा कि पांच साल में सरकार द्वारा राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के बजट में 13% की कटौती के कारण स्वास्थ्य से जुड़े पेशेवरों की संख्या में भारी कमी आई है। बजट के जरिए भारत को स्वास्थ्य पर खर्च जीडीपी के 3% तक होने की जरूरत है, ताकि बिहार, असम, यूपी में आए स्वास्थ्य संकटों को टाला जा सके।
कांग्रेस ने अपने एक ट्वीट में कहा कि भारी जल संकट और सूखे के बीच पिछले 4 साल के दौरान सिंचाई के बजट में 433 करोड़ की कटौती के कारण किसान आत्महत्याओं और कर्जे में वृद्धि हुई है. बजट के जरिए किसानों को कर्जे के जाल से मुक्ति दिलाने के लिए ठोस कृषि नीति की जरूरत है।
कुल मिलाकर कांग्रेस ने आज के बजट पर कई निशाना साधा।